Gurugram: नगर निगम के सफाई कर्मचारी, जो अपनी मांगों के लिए हड़ताल पर थे, अब एक बड़े आंदोलन के लिए तैयार हैं। कर्मचारियों की हड़ताल के कारण शहर में सफाई प्रणाली दिवालिया हो गई है, जबकि दूसरी ओर विभिन्न विभागों के कर्मचारी भी सफाई कर्मचारियों के समर्थन में उतर आए हैं। कर्मचारी नेता Manohar Lal सरकार को राज्य की तरफ से यह चेतावनी देकर साफ़ रूप से कह दिया है कि उनकी मांगों को तीन दिन के भीतर पूरा नहीं किया गया तो वे 25 October को कॉर्पोरेशन कमिशनर के कार्यालय को घेर लेंगे।
कर्मचारी नेता कहते हैं कि सरकार ने पहले ही उनकी मांगों को लिखित रूप में स्वीकार कर लिया है, लेकिन अधिसूचना जारी नहीं किया है। इसके बावजूद, सरकार नगर निगम में नौकरियों को अर्बित्रेशन तरीके से निकाल रही है, जिसे वे सहने का इरादा नहीं करेंगे। सरकार सफाई कर्मचारियों को नहीं सुन रही है, सफाई कर्मचारियों को अनदेखा करना अच्छा नहीं है। सरकार अपने वादों पर वापस जा रही है।
नगर के कर्मचारी संघ के नेता कहते हैं कि हाल में नगर निगम के अधिकारी नौकरियों के संविदान अनुबंधों को समाप्त करके उन्हें प्रचालन और रखरखाव अनुबंध दिए हैं, जिसके खिलाफ वे विरोध कर रहे हैं। इसके अलावा, कंपनी में काम करने वाले 3 हजार से अधिक कर्मचारी भी नौकरी से बर्खास्त कर दिए गए हैं, जिसके कारण इन कर्मचारियों के घरों में चूल्हे नहीं जल रहे हैं। कितने ही कर्मचारी अपने मकानदार के द्वारा किराया नहीं देने के लिए अपने घर से बाहर किए गए हैं, जबकि कुछ कर्मचारी दुकान से राशन भी नहीं ले सक रहे हैं। इस स्थिति में, वे सरकार की ओर बड़ी उम्मीद के साथ बैठे हैं, लेकिन इन कर्मचारियों के दर्द और पीड़ा को समझने की बजाय, सरकार उन्हें नौकरी से निकाल दी है।
वर्तमान में, सफाई कर्मचारियों और नगर अधिकारियों और सरकार के बीच कलह के बीच सामान्य जनता को सहना पड़ रहा है। शहर में कई दिनों से सफाई प्रणाली रुक गई है। हर तरफ कचरे के ढेर हैं, जिसके कारण शहर में बीमारियों का खतरा बढ़ गया है। hospital में रोगियों की संख्या भी लगातार बढ़ रही है। अब यह देखना है कि क्या कर्मचारी नेताओं और सरकार के बीच मांगों पर समझौता हो सकता है और कर्मचारियों की हड़ताल कब समाप्त होगी।

Author: Political Play India



